Nafraton Ke Dayre Me - कभी हम नफरतों के दायरों में बंट नहीं सकते - Shafe...



कभी हम नफ़रतों के दायरों में बंट नहीं सकते !
कभी फ़िरक़ा परस्ती के सबक़ को रट नहीं सकते !!
सदाक़त का पिया है दूध हमने अपनी माओं से !
हमारे पाँव सच्चाई की रह से हट नहीं सकते !!
~ शफ़ीक़ आब्दी
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