नोट बंदी के बारे में 10 बड़े झूठों का भंडाफोड़
नोट बंदी के बारे में 10 बड़े झूठों का
भंडाफोड़
देश में 500 और 1000 रुपए के नोट बंद होने के बाद अफवाहों का दौरा
शुरू हो गया है. बड़े ताज्जुब की बात है कि लोग इन अफवाहों पर आंख मूंदे यकीन भी
कर रहे हैं । मंगलवार रात जैसे ही प्रधानमंत्री नरेंद मोदी ने ‘नोट बंदी
महाअभियान’ शुरू किए जाने की घोषणा की, सोशल मीडिया पर अफवाहों की बॉम्बारडिंग
चालू हो गई । इन फर्जी खबरों को फैलाने में सबसे बड़ा हथियार ‘सोशल मीडिया’ साबित हुआ है.
जाने सोशल मीडिया पर कौन कौन सी अफवाहें फ़ैल रही हैं. अफरा-तफरी भरे इस
माहोल में कुछ लोग अफवाहे फैलाकर गलत फायदा उठाना चाहते हैं ।
1- ट्रांसपोर्टर
हड़ताल पर जा रहे हैं, इसलिए अपने घर का आवश्यक सामान पहले ही जुटा लें
ये कहा गया कि वे सोमवार से हड़ताल पर जाएँगे ।
2-
मोदी सरकार को बदनाम करने के लिए बोला गया कि बाज़ार में नक़ली
नोट पहले से ही जमा है और वे ढेर सारी मात्रा में हैं परंतु जहाँ भी गहराई
से चेक किया गया वहीं ये पाया गया कि केवल फ़ोटो कापी नोट थे और जाली नोट जैसी कोई
भी बात नहीं निकली ।
3-
ये भी झूठ फैलाया गया कि 2000 के नए नोट में नैनो चिप है । पर RBI ने आगे आकर स्पष्ट
कर दिया कि ऐसा कुछ भी नहीं है ।
4-
उसके बाद झूठ फैलाया गया कि दिल्ली में शॉपिंग मॉल को लूट
लिया गया क्यूंकि लोगो के पास सामान खरीदने के लिए पैसे नहीं थे । लेकिन वो भी झूठ
ही साबित हुआ ।
5-
नमक को लेकर विरोधियों और काला बाज़ारियों ने लोगों को बहुत
ज़्यादा परेशान किया ताकि मोदी जी को बदनाम किया जा सके बहुत अफवाहें उड़ी
पिछले दिनों नमक बहुत ऊचें दामों में बिका हालाँकि इस मामले में कुछ कलाबाज़ारिए
कामयाब भी हुए पर ये दो दिन से ज़्यादा नहीं चल सका और लोगों को सब पता चल गया।
6-
बैंक में जमा किये गए नकद पर 200% जुर्माना लगाया जाएगा । इस डर को आम जनता
में प्रचारित किया गया जबकि ख़ुद वित मंत्रालय भारत सरकार ने स्पष्ट किया कि आम
लोगों को डरने की बिलकुल भी ज़रूरत नहीं है ।
7-
एक बैंक कर्मी की झूठी फ़ोटो दिखाकर उसको भाजपा नेता केशव
प्रसाद मौर्य की बेटी बता दिया गया लेकिन जब जाँच हुई तो पता चला वो तो झंडेवालान
बैंक की कर्मचारी निकली।
8-
ख़ूब प्रचारित किया गया कि भाजपा के नेता और उनके रिश्तेदारों
के पास पहले से ही 2000 के नोट थे भाजपा हरियाणा के एक युवा नेता की झूठी तस्वीर
दिखाकर ये साबित करने की कोशिस की गयी लेकिन विरोधियों की वो कहानी भी पूरी तरह
फ़ेल हो गयी ।
9-
जगह जगह ये अफ़वाह फैलायी गयी कि लम्बी कतार होने के कारण
बैंकों के व एटीएम के बाहर दंगे फसाद हुए । लेकिन पूरे भारत में छूट पुट घटनाओं को
छोड़कर कोई भी रिपोर्ट कहीं दर्ज नहीं की गयी ।
10-
बैंकों में पैसों की कमी होने के कारण लोगों ने आत्महत्या कर ली
। लेकिन बाद में पता चला कि नोट बंदी और पैसा इसकी वजह नहीं था ।
11-
झूठी फ़ोटो दिखाकर बोला गया कि बैंकों के बाहर लम्बी कतार, जिसमे लोग मोदी जी
के खिलाफ़ नारेबाजी कर रहे है । बाद में चेक करने पर पाया गया कि फ़ोटो तो केन्या
के चुनाव की थी ।
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