SUFI - AAYE MOHAN NAINA LAD GAILEN REE DAIYA-आये मोहन नैना लड़ गईलैं री दैय्या !-~ हज़रत मंज़ूर आलम शाह "कलंदर मौजशाही"
AAYE MOHAN NAINA LAD GAILEN REE DAIYA
आये मोहन नैना लड़ गईलैं री दैय्या !
बान करेजवा में गढ़ गईलैं री दैय्या !!
भरी पिचकारी लिए रस की भीगी !
हमका देखि पसर गईलैं री दैय्या !!
लाल गुलाल बनायो ऐसा !
रंगवा मोर उतर गईलैं री दैय्या !!
तड़पत जियरा जो उनको देखिस !
हमसे आपन बिसर गईलैं री दैय्या !!
~ हज़रत मंज़ूर आलम शाह "कलंदर मौजशाही"
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